नई दिल्ली। भारत और वेस्टइंडीज के बीच जारी वनडे सीरीज के दूसरे मैच में विराट सेना को करो या मरो के मैच में कैरिबियाई खिलाड़ियों का सामना करना होगा। पहले मैच में वेस्टइंडीज की टीम ने भारत को हराकर 3 मैचों की वनडे सीरीज में 1-0 की बढ़त ले ली है। दूसरे मैच से पहले भारतीय गेंदबाज दीपक चाहर ने बताया कि पहले मैच में आखिर किस गलती की वजह से विराट सेना को हार का सामना करना पड़ा था। मैच से पहले मीडिया से बात करते हुये दीपक चाहर ने कहा कि चेन्नई में भारतीय टीम गेंदबाजी और फील्डिंग के मामले में कैरिबियाई खिलाड़ी से काफी पीछे थी।
दीपक चाहर ने मीडिया से बात करते हुए कहा, ' मैं ईमानदारी से कहता हूं, चेन्नई में हुए पहले मैच में न तो हमने अच्छी गेंदबाजी की और न ही अच्छी फील्डिंग। पिछले 4 मैचों की बात करें तो हमने फील्डिंग में काफी कैच छोड़े हैं। अगर हम वेस्टइंडीज के विस्फोटक बल्लेबाजों का कैच इतनी आसानी से छोड़ेंगे तो काफी मुश्किल हो जाएगी। मुझे उम्मीद है कि अगर हम दोबारा उस स्थिति में पहुंचे तो गेंदबाजी और फील्डिंग में हम एक इकाई के तौर पर काम करेंगे और सुधार के साथ वापसी करेंगे।'
और पढ़ें: Year Ender 2019: ICC ने जारी की वनडे और टी20 टीम ऑफ द ईयर, इन भारतीय खिलाड़ियों का रहा जलवा
गौरतलब है कि चेन्नई की धीमी पिच पर भारत ने पहले बल्लेबाजी करते हुए आठ विकेट के नुकसान पर 287 रनों का स्कोर खड़ा किया था जिसे वेस्टइंडीज की टीम ने महज 47.4 ओवर्स में हेटमायर और होप की शतकीय पारी के दम पर आसानी से जीत हासिल कर ली।
दीपक चाहर ने आगे बात करते हुए कहा कि टी20 प्रारूप की तुलना में वनडे प्रारूप ज्यादा मुश्किल होते हैं।
और पढ़ें: IND vs WI: भारत के खिलाफ हेटमायर-होप ने रचा इतिहास, नाम किये यह रिकॉर्ड
उन्होंने कहा, 'मुझे लगता है कि क्रिकेट का सबसे मुश्किल प्रारूप वनडे होता है। टी-20 में अगर आप किफायती होते हो और विकेट नहीं लेते तब भी अच्छी गेंदबाजी कही जाती है जबकि टेस्ट क्रिकेट में रनों की चिंता किये बगैर आपको लगातार अटैक करना होता है। वहीं वनडे में आपको दोनों बातों का ध्यान रखता होता है, ज्यादा रन न देते हुए विकेट लीजिये।'
और पढ़ें: IND vs AUS: भारत के खिलाफ ऑस्ट्रेलिया ने घोषित की 14 सदस्यीय टीम, 5 साल बाद लौटा यह खिलाड़ी
चाहर ने आगे कहा कि वनडे में आपको स्थिति को अच्छे से पढ़ना होता है और समझना होता है कि टीम क्या चाहती है। आपको बल्लेबाजों को परखना होता है और फिर फैसला करना होता है कि क्या करना है। मैंने इंडिया-ए के साथ काफी वनडे क्रिकेट खेली है जिसने मुझे फायदा पहुंचाया है।