नई दिल्ली। इंग्लैंड एंड वेल्स में हुए आईसीसी विश्व कप दाैरान पाकिस्तान क्रिकेट टीम चारों तरफ से आलोचनाओं से घिरती नजर आई। सेमीफाइनल में जगह ना बना पाने के कारण इस टीम को घर वापसी के बाद कई चाैंकाने वाले फैसले सुनने को मिले। विश्व कप दाैरान टीम में एकजुटता नहीं दिखी, ना ही टीम अंतिम प्लेइंग इलेवन को लेकर कभी सही फैसला ले सकी। अनुभवी शोएब मलिक को बाहर रखा। ऐसे में पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड(पीसीबी) ने बड़ी कार्रवाई करते हुए मिकी आर्थर को मुख्य कोच के पद से बर्खास्त कर दिया, साथ ही पूरा स्पोर्टिंग स्टाफ भी निकाल दिया गया। सवाल है कि आखिर टीम में ऐसा क्या चल रहा था जिस कारण पीसीबी द्वारा अचानक बड़े फैसले लिए गए। यहां तक सरफराज अहमद की कप्तानी भी खतरे में है। इन सब सवालों का जवाब दिया है गेंदबाजी कोच रह चुके अजहर महमूद, जिन्होंने आर्थर की पोल खोलते हुए साफ कर दिया कि आखिर कैसे पाकिस्तान टीम का बेड़ागर्क हुआ।
आर्थर पूरी तरह से थे हावी
अजहर महमूद को भी गेंदबाजी कोच पद से हटा दिया गया। उन्होंने द डॉन अखबार के साथ बात स्पष्ट बात करते हुए कहा कि पाकिस्तान की टीम के चयन में मिकी आर्थर का दबदबा था। अजहर ने आगे कहा कि उन्होंने अपने पूरे कार्यकाल के दौरान इस मामले को उठाने की कोशिश की लेकिन बात नहीं मिली। उनके अनुसार जब पाकिस्तान ने 2017 में भारत को हराकर चैंपियंस ट्राॅफी जीती थी तो उसके बाद मिकी आर्थर पूरी तरह से हावी हो गए थे। अजहर के अनुसार, "मेरे अपने पूरे कार्यकाल के दौरान, मैंने पीसीबी अधिकारियों से ये बात उठाई कि गेंदबाजी कोच के रूप में मेरे पास चयन मामलों में एक बेहतर स्थिति होनी चाहिए क्योंकि मेरे पास हर गेंदबाज के बारे में बेहतर विचार था। लेकिन ऐसा नहीं हुआ। चैंपियंस ट्रॉफी को जीतने के बाद आर्थर और भी ज्यादा शक्तिशाली हो गए और उन्होंने मुख्य चयनकर्ता इंजमाम उल हक और कप्तान सरफराज के साथ सभी बड़े फैसले लिए लेकिन मिकी आर्थर ज्यादा हावी थे।"
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पीसीबी को भी लिया लपेटे
इसके साथ ही अजहर महमूद ने पीसीबी को भी लपेटे में लेते हुए कहा कि, "पीसीबी और क्रिकेट समिति ने मिकी आर्थर के साथ पूरे कोचिंग स्टाफ को बुलाती थी लेकिन हमें अपने विभाग के बारे में स्पष्टीकरण देने और जवाब देने का मौका नहीं देते थे। जब मैं शामिल हुआ तो ज्यादातर गेंदबाज अनुभवहीन थे और मैंने उनके साथ बहुत मेहनत की। हसन अली, शादाब खान, शिनवारी और शाहीन- सभी मेरे समय के दौरान नए खिलाड़ी के रूप में आए थे और उन्होंने कड़ी मेहनत कर अच्छा प्रदर्शन किया।"
कोई बड़ा खिलाड़ी नहीं बनना चाहता पाकिस्तान टीम का कोच
मिकी आर्थर को हटाने के बाद पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड अब तक नया कोच नहीं खोज पाया है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, कोई बड़ा विदेशी नाम पाकिस्तान टीम की कोचिंग में दिलचस्पी नहीं ले रहा। देश के जो पूर्व और बड़े खिलाड़ी हैं वो ज्यादातर टीवी पर व्यस्त रहते हैं। लिहाजा, वो भी ये जिम्मेदारी नहीं लेना चाहते। न्यूजीलैंड के पूर्व कोच माइक हेसन को पाकिस्तान बोर्ड ने कोच पद संभालने का ऑफर दिया था लेकिन उन्होंने भी ठुकरा दिया है।
रैंकिंग में फिसड्डी
वहीं अगर पाकिस्तान की माैजूदा टेस्ट और वनडे फाॅर्मेट की रैकिंग की बात करें तो वह फिसड्डी साबित हो रही है। टेस्ट में 7वें जबकि वनडे में छठे स्थान पर काबिज यह टीम फिर से जीत की पटरी पर लाैटने के लिए इंतजार में बैठी है। साल 2016 से बाद पाकिस्तान किसी भी बड़ी टीम से टेस्ट सीरीज जीतने में नाकाम रही है। सिर्फ आस्ट्रेलिया को ही हाल ही में 2 मैचों सीरीज में 1-0 से हरा सकी थी। वहीं इसी साल की शुरूआत से टीम ने सरफराज की कप्तानी में लगातार 11 वनडे मैच हारने का शर्मनाक रिकाॅर्ड भी बनाया था।