BCCI Faces Financial Crisis as Didn't paid Salary to 400 Official Umpires and Scorecards know truth: नई दिल्ली। दुनिया भर में फैली महामारी कोरोना वायरस के बीच जहां विश्व भर के क्रिकेट बोर्ड आर्थिक समस्या से गुजर रहे हैं तो वहीं पर भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड ने अपनी साख के अनुसार खेल को सुचारू रूप से चलाने का काम किया। दुनिया के सबसे अमीर क्रिकेट बोर्ड बीसीसीआई ने महामारी के बीच यूएई में इंडियन प्रीमियर लीग का सफल आयोजन करा सभी को अपने सामर्थ्य का परिचय दिया। हालांकि क्या अब दुनिया के सबसे अमीर क्रिकेट बोर्ड की भी हालत खराब रही है और वो कंगाली की ओर बढ़ रहा है। जहां बीसीसीआई 9 अप्रैल से दुनिया की सबसे अमीर टी20 लीग आईपीएल के 14वें सीजन का आयोजन करने की तैयारी कर रहा है तो वहीं पर खबर आ रही है कि भारतीय बोर्ड ने अब तक 400 से ज्यादा मैच अधिकारियों को एक साल से ज्यादा का समय बीत जाने के बाद भी उनकी सैलरी नहींं दी है।
न्यू इंडियन एक्सप्रेस में छपी खबर के अनुसार बीसीसीआई ने 400 से ज्यादा अंपायर्स, स्कोर्रस, मैच ऑफिशियल्स और वीडियो एनालिस्ट को उनकी सैलरी नहीं दी है। बीसीसीआई ने घरेलू क्रिकेटर्स को उनकी सैलरी भी नहीं दी है, साथ ही इसमें कई ऐसे भी अधिकारी हैं जिन्हें एक साल से ज्यादा समय से पैसा नहीं मिला है।
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बीसीसीआई ने पिछले साल महामारी के चलते रणजी क्रिकेटर्स को मुआवजा देने का ऐलान किया था, जिसके बाद इस साल की शुरुआत में सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी का भी आयोजन किया गया। हालांकि रणजी खेलने वाले क्रिकेटर्स को अब तक मुआवजा नहीं दिया गया है। इतना ही नहीं बीसीसीआई ने सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी को खत्म हुए 2 महीने के बाद भी अंपायर्स को अब तक सैलरी नहीं दी है।
उल्लेखनीय है कि आमतौर पर बोर्ड टूर्नामेंट खत्म होने के महज 15 दिन के अंदर ही पैसों का भुगतान करता है लेकिन इसके बावजूद यह भुगतान अभी बाकी है। बीसीसीआई ने हाल ही में जब अंपायर्स और अधिकारियों को बिल जमा कराने के लिये भी कहा तो उसमें भी बिल 3 दिन से पुराना न होने की शर्त रखी।
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गौरतलब है कि बीसीसीआई की ओर से भुगतान में हो रही यह देरी आर्थिक समस्या की वजह से नहीं बल्कि क्रिकेट संचालन मैनेजर के न होने के चलते हो रही है। सबा करीम के पिछले साल क्रिकेट ऑपरेशंस के पद से इस्तीफा देने के बाद से यह पद खाली पड़ा है। वहीं एक अन्य महाप्रबंधक केवीपी राव जो अंपायर्स और अधिकारियों के मामलों को देखते हैं उनका पद भी दिसंबर से खाली पड़ा है।
ऐसे में बीसीसीआई की ओर से मिलने वाली सैलरी पर आश्रित खिलाड़ियों, अंपायर्स और मैच अधिकारियों पर इसका सबसे ज्यादा असर देखने को मिल रहा है। आपको बता दें कि बीसीसीआई ने पिछले साल आईपीएल से 4000 करोड़ रुपये की कमाई की थी उसके बावजूद इतने लोगों का पैसा बाकी रहना बोर्ड में मैनेजमेंट की कमी को दर्शाता है।