नई दिल्ली। 'चंद्रयान-2' के लैंडर 'विक्रम' का चांद पर उतरते समय जमीनी स्टेशन से संपर्क टूट गया। सपंर्क तब टूटा जब लैंडर चांद की सतह से 2.1 किलोमीटर की दूरी पर था। लैंडर को रात लगभग एक बजकर 38 मिनट पर चांद की सतह पर लाने की प्रक्रिया शुरू की गई, लेकिन चांद पर नीचे की तरफ आते समय 2.1 किलोमीटर की दूरी पर जमीनी स्टेशन से इसका संपर्क टूट गया। 'विक्रम' ने 'रफ ब्रेकिंग' और 'फाइन ब्रेकिंग' चरणों को सफलतापूर्वक पूरा कर लिया, लेकिन 'सॉफ्ट लैंडिंग' से पहले इसका संपर्क धरती पर मौजूद स्टेशन से टूट गया। इससे वैज्ञानिकों और देश के लोगों में निराशा जरूर छाई है लेकिन हौसला अभी तक बुलंद है।
'चंद्रयान-2' पर क्रिकेट जगत की प्रतिक्रिया भी आई है और सभी ने इसरो के हौसले की तारीफ की है। वीरेंद्र सहवाग हम होंगे कामयाब के साथ लिखते हैं- 'ख्वाब अधूरा रहा पर हौसले जिंदा हैं, इसरो वो है, जहां मुश्किलें शर्मिंदा हैं।'
Khwaab Adhoora raha par Hauslein Zinda hain ,
— Virender Sehwag (@virendersehwag) September 7, 2019
Isro woh hai, jahaan mushkilein Sharminda hain .
Hum Honge Kaaamyab #Chandrayan2
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टीम इंडिया के कोच रवि शास्त्री कहते हैं- भारत को इसरो के वैज्ञानिकों पर गर्व है जिन्होंने हमें स्पेस साइंस में दुनिया का लीडर बनाया है। चंद्रयान 2 भारत के लाखों बच्चों को प्रेरणा देगा। जय हिंद।
#India is proud of its #ISRO scientists who have made us a world leader in Space Science. #Chandrayaan2 will inspire millions of Indian kids. Jai Hind 🇮🇳 https://t.co/IyOotFgR2t
— Ravi Shastri (@RaviShastriOfc) September 7, 2019
गौतम गंभीर लिखते हैं- आप तभी फेल होते हैं जब आप अपनी गलतियों से नहीं सीखते हैं। हम मजूबती से वापसी करेंगे। मैं इसरो को सलाम करता हूं जो उन्होंने करोड़ों भारतीयों को एक होने का सपना दिखाया। निश्चित तौर पर बेस्ट तो अभी आने वाला है।
It's only a failure if we don't learn from our setbacks. We will come back stronger! I salute the great spirit of team @isro for making a billion Indians dream together, as one. The best is definitely yet to come 🚀 #Chandrayaan2
— Gautam Gambhir (@GautamGambhir) September 7, 2019
क्रिकेट कमेंट्री के दिग्गज हर्षा भोगले लिखते हैं- हमारे इसरो पर काफी गर्व है। आपने लगभग कर दिखाया। दुनिया आपकी तारीफ कर रही है और मैं भी उनमे से हूं।
Very proud of our @isro. You were almost there. I join the world in applauding you.
— Harsha Bhogle (@bhogleharsha) September 7, 2019
बता दें कि चंद्रमा की सतह को छूने से चंद मिनट पहले लैंडर 'विक्रम' का जमीनी स्टेशन से संपर्क टूटने के बाद इसरो के एक अधिकारी ने बताया है कि विक्रम से संपर्क टूटा है लेकिन चंद्रयान-2 का ऑर्बिटर चंद्रमा की कक्षा में सुरक्षित है और चक्कर लगा रहा है।
इसरो अधिकारी ने पीटीआई को बताया कि ऑर्बिटर चंद्रमा की कक्षा में पूरी तरह ठीक एवं सुरक्षित है और सामान्य तरीके से काम कर रहा है। लैंडर-रोवर को दो सितंबर को ऑर्बिटर से सफलतापूर्वक अलग किया गया था। ऑर्बिटर अब भी चांद से करीब 100 किलोमीटर की दूरी पर कक्षा में सफलतापूर्वक चक्कर लगा रहा है। 2379 किलोग्राम ऑर्बिटर के मिशन का जीवन काल एक साल है।