नई दिल्ली। ऑस्ट्रेलिया के सलामी बल्लेबाज डेविड वॉर्नर ग्रोइन इंजरी से जूझ रहे हैं। अपनी चोट को लेकर डेविड वॉर्नर ने बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि भारत के खिलाफ आखिरी दो टेस्ट मैच खेलना उनका गलत फैसला था। उन्होंने कहा कि मैंने दो टेस्ट मैच दर्द के बावजूद खेला क्योंकि ऑस्ट्रेलिया को सीरीज में सलामी बल्लेबाज की बहुत सख्त जरूरत थी। बता दें कि भारत के खिलाफ दूसरे वनडे मैच के दौरान ग्रोइन इंजरी हुई थी, जिसके बाद वह सीरीज से बाहर हो गए थे और टी-20 सीरीज में भी नहीं खेल सके थे। पहले दो टेस्ट मैच के लिए डेविड वॉर्नर उपलब्ध नहीं थे लेकिन सलामी बल्लेबाज के तौर पर विकल्प नहीं मिलने की वजह से वॉर्नर ने आखिरी के दो टेस्ट ग्रोइन इंजरी के बावजूद खेले थे।
भारत के खिलाफ दो टेस्ट मैच खेलने के अपने फैसले पर वॉर्नर ने कहा कि मैंने दो टेस्ट मैच खेलने का फैसला लिया, मुझे लगा कि मुझे टीम में होना चाहिए और टीम की मदद करनी चाहिए। लेकिन अगर मैंने अपनी फिटनेस की सोची होती तो शायद मैं यह फैसला नहीं लेता, आज अगर मैं उस स्थिति में होता तो कतई मैच नहीं खेलता, इस फैसले की वजह से मेरी इंजरी और बढ़ी। अगर मैं अपने बारे में सोच रहा होता तो जरूर मैच खेलने से इनकार कर देता लेकिन मैंने अपनी टीम के लिए जो जरूरी था वो किया, मुझे लगता था कि बतौर सलामी बल्लेबाज मुझे टीम में होना चाहिए।
बता दें कि डेविड वॉर्नर की वापसी के बाद भी ऑस्ट्रेलिया को बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में 2-1 से हार का सामना करना पड़ा था। वॉर्नर दो टेस्ट मैचों की चार पारियों में 5, 13, 1, 48 रन की पारी खेली थी। वहीं आगामी वनडे विश्वकप को लेकर डेविड वॉर्नर ने कहा कि मैं विश्व कप के बारे में सोच रहा हूं। हमारे पास सफेद गेंद की मजबूत टीम है। हमारे पास भारत में विश्वकप जीतने का बड़ा मौका है। कई खिलाड़ियों के लिए यह आखिरी विश्वकप हो सकता है।