गावस्कर ने किया था मेल
कर्स्टन ने ‘क्रिकेट कलेक्टिव' पॉडकास्ट में कहा, ''मुझे सुनील गावस्कर ने एक मिली थी जिसमें पूछा गया था कि क्या आप भारतीय टीम का कोच बनना चाहेंगे। मुझे लगा गावस्कर मजाक कर रहे हैं तो मैंने मेल का कोई जवाब नहीं दिया। लेकिन फिर कुछ दिनों बात मेल आई जिसमें लिखा था, ''क्या आप इंटरव्यू के लिए आना चाहोगे।" मैं यह मेल अपनी पत्नी को दिखाया और उसने कहा कि वो गलत आदमी को चुन रहे हैं। मेरा फिर टीम में अजीबोगरीब ढंग से प्रवेश हुआ जो सही भी था। मेरे कहने का मतलब है कि मुझे कोचिंग का किसी तरह का अनुभव नहीं था।''
कुंबले को बताया तो हंस पड़े
कर्स्टन ने कहा कि जब वह इंटरव्यू के लिए भारत पहुंचे तो उन्हें तत्कालीन कप्तान अनिल कुंबले से मिलने का मौका मिला और दोनों मेरी दावेदारी की संभावना पर हंस पड़े थे। उन्होंने कहा, ''मैं इंटरव्यू के लिए आया तो मेरी मुलाकात कुंबले से हुई। कुंबले ने मुझे देखा तो उन्होंने पूछा कि तुम यहां क्या कर रहे हो। मैंने जवाब दिया कि तुम्हारा कोच बनने के लिए इंटरव्यू देने के लिए आया हूं। यह सुनते ही कुंबले हंस पड़े। फिर मैं भी हंस पड़ा क्योंकि यह हंसने वाली बात भी थी।''
कोच बनने के लिए लगे थे सिर्फ 7 मिनट
जब कर्स्टन इंटरव्यू दे रहे थे तो रवि शास्त्री ने उनका काम आसान कर दिया। कर्स्टन ने कहा कि कोच बनने के लिए उन्हें सिर्फ 7 मिनट लगे थे। उन्होंने कहा, ''मैं बीसीसीआई अधिकारियों के सामने था और माहौल काफी गंभीर था। बोर्ड के सचिव ने कहा कि मिस्टर कर्स्टन क्या आप भारतीय क्रिकेट के भविष्य को लेकर अपना प्लान बताओगे। मैंने कहा कि मेरे पास कुछ भी नहीं है। किसी ने भी मुझसे इस तरह की तैयारी करने के लिए नहीं कहा था। मैं अभी यहां पहुंचा हूं।''
समिति में शामिल शास्त्री ने मुझसे कहा, ''गैरी हमें यह बताओ कि साउथ अफ्रीकी टीम के रूप में भारतीयों को हराने के लिए आप क्या करते थे।'' मैंने दो तीन मिनट में उसका जवाब दिया भी पर मैंने ऐसी किसी रणनीति का जिक्र नहीं किया जो हम उस दिन उपयोग कर सकते थे। कर्स्टन ने कहा, ''वह और बोर्ड के अन्य सदस्य काफी प्रभावित थे क्योंकि इसके तीन मिनट बाद बोर्ड के सचिव ने मेरे पास अनुबंध पत्र खिसका दिया था. मेरा साक्षात्कार केवल सात मिनट तक चला था।''