गौरतलब है कुछ दिन पहले ही आयोजन की व्यावहार्यता को मामला सामने आया था और मुंबई क्रिकेट संघ (एमसीए) के सचिव उन्मेष खानविलकर और एक अन्य सदस्य ने बंबई उच्च न्यायालय में जाकर वनडे के लिए तदर्थ समिति गठित करने की मांग की थी। एमसीए अधिकारियों ने बीसीसीआई के सीनियर अधिकारियों से मुलाकात की थी और उन्हें एमसीए का बैंक खाता संचालित नहीं कर पाने और स्टेडियम के अंदर विज्ञापनों के लिए निविदा जारी नहीं करने जैसी कई मुश्किलों के बारे बताया था। इसके कारण अब यह फैसला लिया गया है। बता दें कि इससे पहले इंदौर स्टेडियम में मुकाबले की मेजबानी छिनी थी और फिर विशाखापतनम में मुकाबला तय होना माना गया था।