नई दिल्ली। इंग्लैंड ने चल रहे टी 20 विश्व कप 2021 में शानदार प्रदर्शन किया है। इयोन मोर्गन की अगुवाई वाली टीम ने बेन स्टोक्स और जोफ्रा आर्चर जैसे घातक खिलाड़ियों के बिना टूर्नामेंट में प्रवेश किया। हालांकि, दोनों की कमी नहीं खली, क्योंकि खिलाड़ियों ने दमदार खेल दिखाते हुए टीम को सेमीफाइनल में पहुंचा दिया हैं। भारत के पूर्व क्रिकेटर और कमेंटेटर आकाश चोपड़ा ने टी20 विश्व कप में इंग्लैंड की सफलता के पीछे का कारण बताया है। उनके अनुसार इंग्लैंड की प्लेइंग इलेवन दिग्गजों के साथ गई है और उनकी भूमिकाएं तय की गई हैं। उन्होंने यह भी कहा कि जब टीम संयोजन को अंतिम रूप देने की बात आती है तो भारत को उनसे सीखने की जरूरत है।
चोपड़ा ने अपने यूट्यूब चैनल पर कहा, "उनके पास प्लेइंग इलेवन के लिए बड़े खिलाड़ी हैं। डेविड मलान टी20 टीम में हैं लेकिन ज्यादा टेस्ट नहीं खेलते हैं। मोईन अली और आदिल राशिद को बताया गया है कि उनसे क्या उम्मीद की जाती है। उनका रोल बहुत स्पष्ट हैं। यही कारण है कि भले ही कुछ खिलाड़ी गायब हों, लेकिन कोई और है जो उस भूमिका में बहुत जल्दी आ सकता है। भारत को इससे सीखना होगा। आप हर खिलाड़ियों के आसपास ज्यादा रहकर रणनीति नहीं बना सकते। भारत के पास एक स्टैंड होना चाहिए और अन्य चीजों में फिट होना चाहिए। यह एक उपमहाद्वीप संस्कृति है जहां खिलाड़ियों को वरीयता दी जाती है, जिसे हमें दूर करने की जरूरत है।"
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द्विपक्षीय सीरीज में भारत और इंग्लैंड का भाग्य अलग रहा है। चोपड़ा ने टीम इंडिया की चयन नीति पर थोड़ा कटाक्ष किया और कहा कि इंग्लैंड ने सफेद गेंद वाली टीम को एक साथ रखते हुए टेस्ट क्रिकेट के प्रदर्शन पर विचार नहीं किया। उन्होंने यह भी कहा कि अगर जो रूट एक भारतीय खिलाड़ी होते तो उन्हें टी20 सेटअप में अपनी जगह मिल जाती।
चोपड़ा ने कहा, "इंग्लैंड ने टेस्ट प्रदर्शन को ध्यान में नहीं रखा, चाहे वे कितने भी अच्छे क्यों न हों। जो रूट का मामला देखिए। अगर जो रूट भारतीय होते, तो क्या आपको लगता है कि वह भारतीय टी20 टीम का हिस्सा नहीं होते? मैं आपको लिखित में दे सकता हूं कि रूट 125 का स्ट्राइक रेट होने पर भी टीम का हिस्सा होते। वह टी20 टीम के कप्तान भी हो सकते थे। ऐसा नहीं है कि इंग्लैंड ऐसा सोचता है।" बता दें कि इंग्लैंड की टीम ने सुपर 12 ग्रुप 1 में लगातार चार मैच जीतते हुए सेमीफाइनल में जगह बना ली है।