आरोपों को ठहराया गलत
मोहम्मद यूसुफ ने अख्तर व कनेरिया द्वारा लगाए गए आरोपों को गलत ठहरताते हुए ट्वीट किया, "मैं पाकिस्तान टीम में अल्पसंख्यक खिलाड़ियों के साथ भेदभाव के बारे में की गई टिप्पणियों की निंदा करता हूं। मैं टीम का सदस्य रहा हूं और मुझे हमेशा टीम, प्रबंधन और प्रशंसकों से बहुत प्यार और समर्थन मिला है! पाकिस्तान जिंदाबाद।" बता दें कि मोहम्मद युसूफ ने जब पाकिस्तान के लिए खेलने शुरू किया था तो वह ईसाई परिवार से संबध रखने वाले थे, लेकिन 2004 को उन्हें धर्म परिवर्तन कर मुसलमान बनने के बाद उन्होंने अपना नाम मोहम्मद यूसुफ रख लिया।
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अख्तर ने किया था खुलासा
बता दें कि अख्तर ने यह भी आरोप लगाया था कि कनेरिया के साथ खाना खाते समय भी भेदभाव किया जाता था। उन्होंने कहा था, शोएब अख्तर ने यह भी कहा कि कनेरिया को पाकिस्तानी साथियों ने एक ही मेज से खाने लेने से भी रोक दिया था क्योंकि कनेरिया दूसरे धर्म पर विश्वास रखते थे। कप्तान इस बात पर भौंहें चढ़ा लेता था कि वह (कनेरिया) हमारे साथ एक ही मेज पर खाना खा रहा है। मैंने उससे कहा कि तुम कप्तान हो सकते हो लेकिन तुम्हारा आचरण खराब है। यह लड़का (कनेरिया) हमारे लिए मैच जीतने के लिए बहुत सारे विकेट चटका रहा है। और आप उसके साथ ऐसा व्यवहार कर रहे हैं।"
अनिल ने लगाए थे इमरान खान पर आरोप
पाकिस्तान के लिए खेलने वाले पहले हिंदू अनिल दलपत थे। इनका करियर ज्यादा लंबा नहीं रहा। वो 1984-86 के बीच केवल 9 टेस्ट और 15 वनडे मैच खेल सके। वह विकेटकीपर बल्लेबाज थे लेकिन ज्यादा सफल नहीं रहे। उन्होंने टेस्ट में विकेट के पीछे 25 और वनडे में 15 खिलाड़ियों को शिकार बनाया। अमित ने साल 2002 में आरोप लगाए थे कि पाकिस्तान के पूर्व कप्तान इमरान खान की वजह से ही उनका क्रिकेट करियर बर्बाद हुआ। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा था, 'इमरान की वजह से मैं कम क्रिकेट खेला। मुझे कम ही मौके मिले लेकिन मैं और खेल सकता था।'