नई दिल्ली। महिला विश्व कप सेमीफाइनल से मिताली राज को बाहर करने का मामला ठंडा पड़ता नहीं दिख रहा है। महिला टीम सेमीफाइनल में इंग्लैंड के हाथों हार गई थी। इस मामले ने भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान सौरव गांगुली पुराना दर्द छलका दिया है। गांगुली मिताली राज को बाहर रखने पर हैरान नहीं है।
गांगुली ने कहा, "टीम इंडिया की कप्तानी करने के बाद मुझे भी बाहर कर दिया गया था। जब मैंने मिताली को टीम से बाहर देखा तो कहा- हमारे ग्रुप में आपका स्वागत है।" गांगुली के ऐसा कहने के पीछे उनका वो इतिहास है जो जिसने भारतीय क्रिकेट में काफी भूचाल मचाया था। यह मामला है ग्रेग चैपल और उस समय के कप्तान गांगुली के बीच के विवाद का। ग्रैग चैपल के कोच रहने के दौरान गांगुली को भी टीम से बाहर कर दिया गया था।
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'सर्वश्रेष्ठ फार्म में बैठा देते हैं बाहर'
46 वर्षीय गांगुली ने पाकिस्तान के खिलाफ 2006 में हुए दूसरे टेस्ट को याद करते हुए कहा, "कप्तान आपको बाहर बैठने के लिए कहते हैं तो आप वैसा ही करो। मैंने फैसलाबाद में ऐसा किया था। 15 महीने तक वनडे नहीं खेला, जबकि उस समय मैं वनडे में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन कर रहा था।"
गांगुली ने ये बात कोलकाता में एक प्रोग्राम के दौरान कही। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि इससे मिताली का करियर खत्म नहीं हो जाता है। आपको हमेशा यह याद रखना चाहिए कि आप सर्वश्रेष्ठ हो, क्योंकि आपने अच्छा किया है, इसलिए उनके बाहर बैठने पर मुझे हैरान नहीं हुआ, लेकिन टीम के हारने पर मैं निराश हुआ। मुझे लगा था कि भारत फाइनल खेल सकता है।
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'आज भी छ्क्के लगा सकते है चैंपियन धोनी'
इस दौरान गांगुली ने फिलहाल टी20 टीम से बाहर चल रहे धोनी को चैंपियन बताया। गांगुली ने कहा- धोनी एक चैम्पियन खिलाड़ी हैं। वे अब भी बड़े छक्के लगाने में सक्षम हैं। उन्हें टीम में रहना चाहिए। वर्ल्ड टी-20 (2007) में जीत के बाद उसका करियर शानदार रहा है। मैं उन्हें शुभकामनाएं देता हूं, क्योंकि सभी चाहते हैं कि वे अपना बेस्ट करें।