दादा ने कही ये बड़ी बातः टाइम्स ऑफ इंडिया में छपे सौरभ गांगुली के इस लेख में दादा ने अफगानिस्तान के लिए लिखा, 'अफगान के लड़कों को इसलिए चिंतित नहीं होना चाहिए कि उनका पहला टेस्ट कितना छोटा रहा, बल्कि उन्हें यह सोचना चाहिए कि इस लंबे प्रारूप में खुद को साबित करने के लिए अभी कहां-कहां काम करना है। गौरतलब हो की अफगानिस्तान की टीम पहली टीम नहीं है जिसके साथ ऐसा हो रहा है इसके अलावा भारत, पाकिस्तान और बांग्लादेश जैसी सरीखी टीम ने भी जब अपने करियर की शुरुआत की थी तो उन्हें भी इस तरह की हार का सामना करना पड़ा था। वहीं आयरलैंड की अगर बात करें तो आयरलैंड ने अपने पदार्पण टेस्ट में शानदार परफॉर्म किया है। अफगान टीम को भी आयरलैंड से खुद को प्रेरित करना चाहिए कि अगर वे अच्छा कर सकते हैं, तो फिर अफगानिस्तान क्यों नहीं? विश्व क्रिकेट को अभी काफी अच्छी टीमों की दरकार है और नई टीमों को सिर्फ मौका मिलने से ही यह बेहतर हो सकता है।
बताई कमीः सौरव गांगुली ने अपने इस लेख में बताया कि अफगानिस्तान टीम इ,स मुकाबले में भी टी20 मूड में ही दिखी। वहीं तेज गेंदबाजी के सामने भी इस टीम के बल्लेबाजों का फुटवर्क अच्छा नहीं था। गांगुली ने बताया कि टेस्ट क्रिकेट एक अलग तरह का खेल है इसमें धीरज और खेलने के तरीके पर खास ध्यान देना होता है। हाालंकि दादा को विश्वास है की जैसे-जैसे इस टीम के खिलाड़ियों में अनुभव आएगा ये और बेहतरीन खेलंगे। उन्होंने कहा कि उन्हें अपने घरेलू स्ट्रक्चर में सुधार की जरूरत है।