ओपनिंग जोड़ी
काैन दो बल्लेबाज ओपनिंग का जिम्मा संभालेंगे, यह पूरी तरह से साफ हो चुका है। रोहित शर्मा से फिर से तूफानी शुरूआत दिलाने की उम्मीद फैंस लाए बैठे हैं तो उनका साथ देने के लिए आएंगे युवा बल्लेबाज शुबमन गिल। रोहित के बताैर ओपनर आंकड़े देखें तो कीवी गेंदबाजों की चिंता बढ़ना लाजमी है। वनडे में तीन दोहरे शतक जड़ चुके रोहित टेस्ट में भी तेज बैटिंग करने का दम रखते हैं। उन्होंने ओपनिंग करते हुए 17 पारियों में 64.38 की औसत के साथ 1030 रन बनाए हैं जिसमें 212 रनों की पारी भी माैजूद है। दूसरी तरफ 21 साल के शुबमन गिल महज अभी तक 7 मैच खेल सके हैं, लेकिन चयनकर्ताओं ने उनपर भरोसा जताया है। भरोसा है कि वह रोहित के साथ अच्छा तालमेल बिठाते हुए ना सिर्फ अच्छी शुरूआत दिलाने का प्रयास करेंगें, बल्कि कम उम्र में अग्रेंजी परिस्थितियों को समझने का अवसर भी मिलेगा जिससे निश्चित ताैर पर टीम को फायदा मिलेगा।
ऐसा रहेगा मध्यक्रम
अब हमारी सोच के अनुसार, अगर तीसरे नंबर पर चेतेश्वर पुजारा, चाैथे पर कप्तान विराट कोहली, 5वें पर अजिंक्या रहाणे और छठे नंबर पर विकेटकीपर बल्लेबाज ऋषभ पंत उतरते हैं तो कीवी गेंदबाजों के लिए इस मजबूत क्रम को तोड़ पाना आसान नहीं रहने वाला है। पुजारा सबसे सीनियर हैं जिनके पा ना सिर्फ विदेशी पिचों को पढ़ने बल्कि काउंटी क्रिकेट खेलने का भी अनुभव है। वहीं कोहली चाहेंगे कि वो शतकों का सूखा समाप्त करें। कोहली ने आखिरी टेस्ट शतक नवंबर 2019 को बांग्लादेश के खिलाफ जड़ा था।
कोहली के बाद उप-कप्तान रहाणे हैं जो कीवी गेंदबाजों को परेशान करने के लिए तैयार हैं। यह वो बल्लेबाज हैं जिनकी चर्चा ज्यादा तो नहीं होती, लेकिन जरूरत के समय इनके बल्ले से जरूर अहम पारी निकलती है। मुकाबले से पहले कई दिग्गज रोहित, कोहली, पुजारा को लेकर बातें कर रहे हैं, लेकिन रहाणे को साइड में रखना सही नहीं, जिनके पास 73 मैच खेलने का अनुभव हो। न्यूजीलैंड के खिलाफ रहाणे का औसत 50 का है, यानी कि उन्होंने कीवी के खिलाफ खेले 7 टेस्ट मैचों की 13 पारियों में 600 रन बनाए हैं, जिसमें 2 शतक भी शामिल हैं। रहाणे से एक बार फिर अहम पारी खेलने की उम्मीद है।
इसके अलावा भारतीय टीम को नंबर 6 वाले खिलाड़ी से काफी उम्मीदे हैं, यानी कि पंत। इनसे अच्छी विकेटकीपिंग की उम्मीद तो रहेगी, लेकिन धुंआधार बल्लेबाजी की भी। पूर्व क्रिकेटरों ने तो उन्हें टीम इंडिया का एडम गिलक्रिस्ट मान लिया है। अब देखना बाकी है कि इस खिताबी मुकाबले में भी पंत वैसा प्रदर्शन दिखाते हैं जैसा कि हाल ही में आस्ट्रेलिया और इंग्लैंड के खिलाफ दिखाया था। छठे नंबर पर पंत का रिकाॅर्ड भी बेहतर है। वह इस नंबर पर खेलीं 12 पारियों में 48.64 की औसत से 535 रन बना चुके हैं, जिसमें इंग्लैंड के खिलाफ हाल ही में खेली गई 101 रनों की पारी भी शामिल है।
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दो ऑलराउंडरों का उतरना तय
इसके अलावा इंग्लैंड की पिच के हिसाब से अनुमान लगाया जा सकता है कि भारतीय टीम दो ऑलराउंडरों के साथ मैदान पर उतरेगी। खास बात यह है कि दोनों ऑलराउंडर स्पिनर के रूप में है यानी कि रविंद्र जडेजा और रविचंद्रन अश्विन। दोनों क्रमश: 7वें-8वें स्थान पर भूमिका निभाएंगे। दोनों को माैका मिलना तय लग रहा है क्योंकि ये खिलाड़ी ना सिर्फ बाॅलिंग से मैच बदलने में माहिर हैं बल्कि शतक लगाने के लिए भी दम रखते हैं। जडेजा पिछले 3 सालों से लगातार अच्छा खेल रहे हैं। वह टेस्ट क्रिकेट में 1 शतक के अलावा 15 अर्धशतक भी लगा चुके हैं तो दूसरी तरफ अश्विन 11 अर्धशतक के अलावा 5 शतक भी जमा चुके हैं। दोनों अनुभवी खिलाड़ी हैं और अब बड़े मैच में उनका रोल अहम रहने वाला है।
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तीन तेज गेंदबाज रहेंगे शामिल
भारतीय टीम तीन तेज गेंदबाजों के साथ उतर सकती है। मोहम्मद शमी और जसप्रीत बुमराह का खेलना तय है, लेकिन तीसरा गेंदबाज चुनना मुश्किल है। क्योंकि इस रेस में इशांत शर्मा के साथ मोहम्मद सिराज हैं। इशांत के पास विदेशी पिचों पर पेस करने का अनुभव है तो वहीं सिराज को इसलिए प्लेइंग इलेवन का दावेदार माना जा रहा है क्योंकि उन्होंने आस्ट्रेलिया और इंग्लैंड के खिलाफ हाल ही में हुई सीरीज के दाैरान दमदार प्रदर्शन किया था। सिराज ने अभी तक खेले 5 मैचों में 12 विकेट चटकाए हैं, लेकिन उनका यह छोटा प्रदर्शन इशांत के आगे फीका है जिनके पास 101 टेस्ट खेलने का माैका है। इशांत तीन साल में इशांत इंडिया की ओर से टेस्ट क्रिकेट में सबसे ज्यादा विकेट लेने वाले तेज गेंदबाज हैं। अगर आखिरी वक्त में टीम मैनेजमेंट अपना मन बदलता है और अनुभव को तरजीह देने की सोचता है कि सिराज को बाहर बैठना पड़ सकता है।
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भारतीय टीम- शुभमन गिल, रोहित शर्मा, चेतेश्वर पुजारा, विराट कोहली (कप्तान), अजिंक्य रहाणे, ऋषभ पंत (विकेटकीपर), रविंद्र जडेजा, आर अश्विन, इशांत शर्मा, जसप्रीत बुमराह और मोहम्मद शमी