नई दिल्ली। केंद्रीय खेल मंत्रालय गुर्दे की बीमारी से जूझ रहे 59 वर्षीय हॉकी ओलंपियन मोहिंदर पाल सिंह की मदद के लिए आगे आए हैं। हॉकी में ओलंपिक खेलों में देश का प्रतिनिधित्व कर चुके मेरठ कैंट निवासी मोहिंदर पाल सिंह के इलाज के लिए केंद्रीय खेल मंत्रालय ने उनकी पत्नी शिवजीत सिंह को 10 लाख रुपए मदद के ताैर पर दिए। यह राशि पंडित दीन दयाल उपाधयाय राष्ट्रीय कल्याण कोष के तहत मंजूर की गई है।
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केंद्रीय खेल मंत्री किरेन रिजिजू ने बयान जारी करते हुए कहा, "हमारा हमेशा प्रयास रहा है कि देश की सेवा करने वाले खिलाड़ियों की मदद की जाए। मोहिंदर पाल ने एक खिलाड़ी और एक कोच के रूप में हॉकी की अभूतपूर्व सेवा की है। उनका बीमार रहना हमारे लिए एक चिंता का विषय है। उनका इलाज महंगा है, ऐसे में उनकी मदद करने के लिए हम तैयार है।'' उन्होंने आगे कहा, ''मैंने नोएडा के सांसद महेश शर्मा से बात की है क्योंकि मोहिंदर फिलहाल नोएडा में ही रहते हैं। उनके कार्यालय से एक पत्र प्रधानमंत्री राहत कोष को भेजा गया है ताकि अस्पताल के बिलों का भुगतान इस कोष से किया जा सके।"
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गाैर हो कि 1986 के सोल एशियाड, 1986 और 1990 के विश्व कप और 1988 के सोल ओलंपिक में भारतीय रक्षा पंक्ति की दीवार रहे एमपी ने पेनल्टी कार्नर पर गोल जमाने की कलाकारी से खूब नाम कमाया था। मोहिंदर की जाने माने डिफेंडर परगट सिंह के साथ मैदान पर खूब जमती थी, लेकिन पिछले 5 साल से मोहिंदर किडनी की बीमारी से जूझ रहे हैं। लेकिन अब दोनों किडनी डेमेज हो चुकी हैं। ऐसे में किडनी डोनर वेटिंग में हैं, जबकि डॉक्टरों ने किडनी ट्रांसप्लांट के लिए कहा है।