नई दिल्लीः टोक्यो ओलंपिक के गोल्ड मेडलिस्ट नीरज चोपड़ा को तेज बुखार आया है। उनके लक्षण कोविड-19 से पीड़ित होने के जैसे हैं क्योंकि गले में भी दुखन की समस्या आई है। नीरज हाल ही में जापान से ऐतिहासिक ओलंपिक गोल्ड मेडल लेकर स्वदेश लौटे हैं और कोरोनावायरस लक्ष्णों के चलते उनका कोविड-19 टेस्ट भी कराया गया। राहत की बात यह है कि नीरज का कोविड-19 टेस्ट नेगेटिव आया है।
उनके करीबी सूत्र ने यह जानकारी दी है। एएनआई से बात करते हुए नीरज के करीबी सूत्र ने बताया की स्टार भाला फेंक खिलाड़ी को गले में दुखन है और इस समय वे तेज बुखार से गुजर रहे हैं।
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सूत्र का कहना है, "नीरज को तेज बुखार के साथ गले में दुखन है और बुखार नहीं उतर रहा है लेकिन अच्छी बात यह है कि उनका कोविड-19 टेस्ट नेगेटिव है। इस समय नीरज आराम कर रहे हैं।"
नीरज चोपड़ा पदक लाने के बाद इतना देश में काफी लोगों से मिले हैं, यह मौसम भी बदलता हुआ है, जिसमें बिना कोरोनावायरस के भी सर्दी जुखाम और बुखार की शिकायतें आम होती जा रही हैं। नीरज के जल्दी ठीक होने की उम्मीद है।
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नीरज का पदक ना केवल भारतीय खेलों में ऐतिहासिक रहा बल्कि वर्ल्ड एथलेटिक्स ने भी टोक्यो ओलंपिक के 10 जादुई एथलेटिक्स पलों में इसकी गिनती की है। नीरज के गोल्डन थ्रो को 'टॉप 10 मैजिकल मोमेंट्स ऑफ एथलेटिक्स (ट्रेक एंड फील्ड)' में गिना गया है। नीरज से पहले भारत का कोई भी एथलीट ट्रैक एंड फील्ड में गोल्ड तो क्या एक ब्रोंज मेडल भी लेकर नहीं आ पाया था। नीरज से पहले हम पीटी उषा मिल्खा सिंह के बारे में बहुत सुन लेते थे लेकिन मेडल कभी देश की झोली में नहीं आ पाया।
नीरज ने ना केवल एथलेटिक्स में देश का सूखा खत्म किया बल्कि सीधा गोल्ड पर निशाना साध कर व्यक्तिगत स्पर्धा में अभिनव बिंद्रा के बाद देश को दूसरा मेडल गोल्ड मेडल भी दिला दिया। नीरज चोपड़ा ने भाला फेंक प्रतियोगिता के फाइनल में अपनी दूसरी थ्रो 87.58 मीटर की फेंकी थी जिसने पीला पदक नीरज के गले में डाल दिया।
नीरज चोपड़ा की शोहरत इस समय आसमान छू रही है और वर्ल्ड एथलेटिक्स वेबसाइट भी इस बात से सहमति जताती है। वह कहती है, "नीरज चोपड़ा ओलंपिक गेम्स में आने से पहले भी कई लोगों की नजरों में थे और कई फॉलोअर्स उनको देख रहे थे, सुन रहे थे। लेकिन टोक्यो भाला फेंक प्रतियोगिता को जीतने के बाद वह अलग ही लोकप्रियता के मुकाम पर पहुंच गए हैं। उन्होंने भारत के लिए एथलेटिक्स में पहला ओलंपिक मेडल लाकर दिया है और चोपड़ा की प्रोफाइल रॉकेट की रफ्तार से आगे बढ़ रही है।"
नीरज ने मेडल जीतने के बाद कहा था कि वे अभी भी समझने की कोशिश कर रहे हैं कि यह उन्होंने क्या कर दिया है। उन्होंने भारत के साथ दुनिया भर के तमाम प्रशंसकों का भी शुक्रिया अदा किया था और उन लोगों को भी धन्यवाद कहा था जिनकी मदद से वे इस स्टेज तक पहुंच पाए। नीरज ने कहा था कि यह पल उनको जिंदगी भर याद रहेगा।