खलील अहमद
तेज गेंदबाज खलील अहमद अभी भी चाैथे गेंदबाज के रूप में दाैड़ में बने हुए हैं। खलील की खासियत है उनकी रफ्तार और लाइन लेंथ। वह 145 किमी/घंटा की औसत रफ्तार से गेंदबाजी करते हैं, इस दौरान गेंद पर उनका नियंत्रण भी शानदार रहता है। 20 वर्षीय खलील ने पिछले साल अक्टूबर में राजस्थान के लिए जम्मू-कश्मीर के खिलाफ अपना प्रथम श्रेणी डेब्यू किया और अब तक तीन मैचों में 5 विकेट लिए हैं। लेकिन उनकी असली क्षमता छोटे फॉर्मेट्स में दिखी है और अब तक वह 28 लिस्ट ए मैचों में 43 और 21 टी20 मैचों में 27 विकेट ले चुके हैं। खलील ने न्यूजीलैंड की धरती पर हाल ही में खेली तीन टी20 मैचों की सीरीज में भी 4 विकेट झटके और अपनी स्विंग गेंदों से कीवी बल्लेबाजों को परेशान किया। ऐसे में इंग्लैंड में होने वाले इस विश्व कप में उन्हें जगह देने के लिए मुख्य चयनकर्ता विचार कर सकते हैं।
उमेश यादव
31 वर्षीय उमेश यादव के पास लगभग 11 साल का अनुभव हैं। उन्हें पता है कि काैन से समय बल्लेबाज को कैसी गेंद डालनी है। यादव अभी भी चाैथे गेंदबाज की रेस में बरकरार हैं। उन्हें आस्ट्रेलिया के खिलाफ आगामी दो टी20 मैचों के लिए भी चुना गया है जहां वह जोरदार प्रदर्शन कर अपनी दावेदारी पेश कर सकते हैं। यादव के पास आईपीएल के शुरूआती मैचों से ही कहर भरपाना होगा ताकि चयनकर्ताओं का ध्यान उनकी ओर जा सके। यादव के पास 75 वनडे मैच खेलने का अनुभव है जिसमें वह 106 विकेट झटक चुके हैं। उन्होंने हाल ही में विदर्भ की तरफ से खेले 3 मैचों में 23 विकेट झटके जिसके बाद टीम इंडिया में वापसी। यादव के इंग्लैंड जैसी तेज पिचों पर 150 किमी. प्रति घंटा की रफ्तार से गेंद फेंकने में दम रखते हैं जिससे विरोधी बल्लबाजों का लड़खड़ाना लाजमी है।
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सिद्धार्थ काैल
दाएं हाथ के तेज गेंदबाद सिद्धार्थ काैल वैकअप के रूप में पूरी तरह से तैयार हैं। वहीं टीम चयनकर्ता भी उन्हें बार-बार माैका दे रहे हैं। आस्ट्रेलिया के खिलाफ टी20 सीरीज और शुरूआती दो वनडे मैचों के लिए उन्हें माैका दिया गया है। अगर उन्होंने मिले माैकों का पूरी तरह से फायदा उठा लिया तो उनका विश्व कप टीम में जाना तय है। सिद्धार्थ के पास प्रथम श्रेणी क्रिकेट का अनुभव है। उन्होंने खेले 58 मैचों में 205 विकेट निकले। इस दाैरान उनका इकाॅनोमी रेट भी 2.99 रहा। सिद्धार्थ ने 2008 में अंडर 19 विश्व कप के फाइनल में दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ पारी का अंतिम ओवर फेंककर भारत को खिताबी जीत दिलाई थी। इस टीम के कप्तान विराट कोहली थे। ऐसे में कप्तान कोहली बखूबी पता है कि उनका रोल टीम में कैसा रह सकता है। अगर सिद्धार्थ चाैथे गेंदबाज के रूप में जगह बनाते हैं तो फिर उमेश और खलील का पत्ता कटना तय है क्योंकि भारतीय टीम को वैकअप के रूप में एक पेसर की जरूरत है।