नई दिल्ली। पहला मैच हारने के बाद टेस्ट सीरीज के दूसरे मैच में मेजबान ऑस्ट्रेलिया किसी भी हालत में जीत के साथ वापसी करने के लिए बेकरार है। कंगारू कोच जस्टिन लैंगर पर्थ की पिच से काफी तेजी और उछाल की उम्मीद पहले ही लगा चुके हैं। ऐसे में पिच का पूरा फायदा उठाने के लिए ऑस्ट्रेलिया ने अपनी गेंदबाजी की धार बढ़ाने की पूरी तैयारी कर ली है।
सबको लग रहा है कि पर्थ टेस्ट का नतीजा सीरीज के नतीजे को तय करने वाला भी हो सकता है। इसलिए मैच से पहले कयास लगाए जा रहे हैं कि ऑस्ट्रेलियाई टीम भारत के खिलाफ कम से कम चार तेज गेंदबाजों के साथ उतरेगी। कंगारू पेस बैटरी को देखते हुए यह एक अच्छा फैसला कहा जा सकता है, लेकिन यहां बड़ा सवाल यह है कि क्या ऑस्ट्रेलिया के पास ऐसे बल्लेबाज हैं जो अपने गेंदबाजों का भरपूर साथ दे सकें?
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शायद इसका जवाब ना में होगा लेकिन इसके साथ ही भारतीय बल्लेबाजों को भी अपनी कमियों पर काम करने की जरूरत होगी। पहले मैच में ओपनिंग जोड़ी की विफलता ने भारत के सामने मुश्किले खड़ी की थी। इसके अलावा रोहित शर्मा और ऋषभ पंत में निरंतरता की कमी दूसरी बड़ी बल्लेबाजी समस्या है। ऐसे में चार कंगारू तेज गेंदबाजों के सामने पर्थ में भारतीय बल्लेबाजी की भी खूब परीक्षा होगी।