नॉटिंघम, जून 14: गुरुवार को ट्रेंट ब्रिज में एक ही सूरत में खेल हो सकता था कि सूरज रात भर चमकता रहे और मैच के दिन बारिश की कोई बूंद ना पड़े। हालांकि पहली घटना तो हो नहीं सकती थी और दूसरी घटना ने साथ मैच के दिन साथ नहीं दिया, ऐसे में भारत और न्यूजीलैंड को आपस में बराबर अंक बांटने के लिए मजबूर होना पड़ा। इस तरह से ये दोनों टीमें इस विश्व कप में अभी तक अपराजेय बनी हुई हैं।
एक ऐसे खेल में पूरे दिन मौजूदगी बनाए रखना कठिन होता है जब आपको पता हो कि नजीता क्या होने जा रहा है। इस मैच का परिणाम भी सबको पता था लेकिन फिर भी प्रोटोकॉल का पालन करना होता है और हल्की बारिश के समय जल्दी ही मैच को रद्द नहीं किया जा सकता था।
अंपायर मारिस इरास्मस और पॉल रिफेल ने कम से कम 6 बार मैदान पर आकर स्थितियों का जायजा लिया। हर बार ये लोग जैसे ही आते तो ट्रेंट ब्रिज के गहरे बादलों के बीच आशावादी फैंस उनका तालियां बजाकर स्वागत करते थे। हर बार अंपायर मैदान के हालातों से असंतुष्ट होकर लौटते। सुबह साढ़े नौ बजे से हर निरीक्षण का यही हाल था। आखिरकार उन्होंने नॉटिंघम में 3 बजे एक और निरीक्षण किया और मैच को रद्द करने का फैसला किया। इस तरह से इस सप्ताह का तीसरा मैच ऐसा था जो बिना किसी नतीजे के समाप्त हो गया।
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इसी बीच भारतीय टीम के फील्डिंग कोच आर श्रीधर भी इस स्थिति में लगभग असहाय दिखाी दिए। उन्होंने कहा, 'बारिश के कारण ड्रेसिंग रूम में इंतजार करना झुंझलाहट भरा है।' उन्होंने कहा कि यह मैच कभी भी शुरू हो सकता है और यह भी हो सकता है कि हो ही ना। ऐसे में खिलाड़ियों के सामने अजीब चुनौती है कि वे खुद को किसी भी स्थिति के लिए तैयार रखें।
कुछ ऐसे ही विचार न्यूजीलैंड क्रिकेट टीम के कोच गैरी स्टीड के थे। उन्होंने कहा, 'इस तरह का दिन हमेशा मानसिक रूप से चुनौतिपूर्ण होता है। आप खेलने के लिए तैयार बैठे होते हैं लेकिन ऐसा हो नहीं पाता। ये हमारे बस से बाहर की बात है, हम मौसम का कुछ नहीं कर सकते।'
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विश्व कप 2019 में कुल चार मैचों में बारिश के कारण नतीजे नहीं निकले हैं। ऐसे में प्रभावित टीमों के अंक अंतिम स्थितियों के लिए निर्णायक भूमिका तक निभा सकते हैं। हालांकि सभी टीमों को एक-दूसरे के खिलाफ 9 मैच खेलने हैं ऐसे में कभी-कभीर मैच का नतीजा नहीं निकला शायद ज्यादा प्रभाव नहीं पैदा करेगा।
अगर बारिश के कारण और खेलों के भी धुलने की संभावना रहती है तो पिच पर भी सवाल खड़े होंगे। अच्छी बात यह है कि अभी ये सिर्फ बाहरी संभावना है क्योंकि अगले समय के लिए मौसम में पर्याप्त सुधार की भविष्यावाणी की गई है। फिलहाल विश्व कप के आयोजक और इससे जुड़े सभी लोग यही चाहेंगे कि यह भविष्यवाणी सच ही साबित हो।