1. हार्दिक पांड्या की जगह ईशान किशन
ईशान किशन को प्लेइंग इलेवन में माैका देना चाहिए। उन्हें हार्दिक पांड्या की जगह शामिल करना चाहिए। पाकिस्तान के खिलाफ हार्दिक पांड्या बताैर बल्लेबाज खेले थे। उन्होंने गेंदबाजी नहीं करने का फैसला पहले ही ले लिया था, ऐसे में पाकिस्तान के खिलाफ उनसे बड़ी पारी की उम्मीद थी, लेकिन मुश्किल समय में वह 8 गेंदों में सिर्फ 11 रन बना सके। यही नहीं, हार्दिक फिर फील्डिंग करने भी नहीं आए थे। उनके कंधे में खिंचाव आया था। दूसरा, पिछले दो साल में हार्दिक ने 35 टी20 में से सिर्फ छह में गेंदबाजी की है।
हार्दिक एक बल्लेबाज के रूप में सफल नहीं हो पाए हैं। वहीं किशन हैं जो इस समय पूरी लय में हैं। पाकिस्तान के खिलाफ जब उन्हें माैका नहीं दिया गया था तो काफी सवाल उठे थे। किशन बताैर ओपनर भी भूमिका निभा सकते हैं। उन्होंने इंग्लैंड के खिलाफ अभ्यास मैच में सिर्फ 46 गेंदों में 70* रन की तूफानी पारी खेली थी।
2. भुवनेश्वर की जगह शार्दुल को मिले माैका
भारतीय टीम को प्लेइंग इलेवन में दूसरा बदलाव भुवनेश्वर कुमार की जगह शार्दुल ठाकुर को शामिल कर करना चाहिए। मध्यम गति के स्विंग गेंदबाज भुवनेश्वर कुमार हाल के दिनों में अपनी फॉर्म से प्रभावशाली नहीं रहे हैं। वह अपनी इन-स्विंगिंग डिलीवरी और पावरप्ले में बल्लेबाजों को आउट करने के लिए जाने जाते हैं, लेकिन हाल ही में वह टीम के लिए शुरुआती विकेट लेने में पिछड़ गए हैं।
पाकिस्तान के खिलाफ भुवनेश्वर की अगुवाई में गेंदबाजी विभाग में भारत बुरी तरह विफल रहा। सनराइजर्स हैदराबाद के लिए 11 मैचों में सिर्फ 6 विकेट लेकर आईपीएल को समाप्त करने के बावजूद उन्हें अनुभव के चलते टीम में मौका दिया गया था। भारतीय क्रिकेट टीम के नए उभरते सितारे शार्दुल ठाकुर को न्यूजीलैंड के खिलाफ भुवनेश्वर कुमार की जगह लेनी चाहिए। 30 साल के इस खिलाड़ी को इलेवन में लाना टीम के लिए एक बड़ा फायदा हो सकता है, क्योंकि इसमें विकेट लेने की क्षमता है और समय आने पर बल्ले से रन भी बरसा सकते हैं।
3. वरुण की जगह अश्विन
मिस्ट्री स्पिनर वरुण चक्रवर्ती से भारत के लिए एक महत्वपूर्ण गेंदबाजी करने की उम्मीद थी। लेकिन वह पाकिस्तान के खिलाफ टीम के लिए खास प्रदर्शन नहीं कर सके। उन्होंने अभी तक राष्ट्रीय टीम के लिए वैसा प्रदर्शन नहीं किया है जैसा उन्होंने आईपीएल में केकेआर के लिए खेला था। वरुण ने 4 ओवर फेंके और बिना विकेट लिए 33 रन दिए। उन्होंने पाकिस्तानी बल्लेबाजों को उतना परेशान नहीं किया, जितने की उनसे उम्मीद की जा रही थी।
ऐसे में रविचंद्रन अश्विन को टी20 टीम में शामिल करना चाहिए। उन्हें आखिरी बार 2017 में सीमित ओवरों के प्रारूप में देखा गया था। अश्विन एक चतुर गेंदबाज है और बल्ले से भी अच्छा योगदान दे सकते हैं। अनुभवी स्पिनर रवि अश्विन, जडेजा के साथ मिलकर घातर साबित हो सकते हैं। अश्विन का अनुभव कप्तान और बाकी गेंदबाजों के काम भी आ सकता है।