इसलिए टिम पेन को सौंपी गई कप्तानी!
दरअसल ऑस्ट्रेलिया को दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ अभी 4 मैचों की टेस्ट सीरीज का आखिरी व निर्णायक मैच खेलना है। लेकिन उससे पहले क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया के सीईओ जेम्स सदरलैंड ने स्टीव स्मिथ, डेविड वार्नर और कैमरन बेनक्रॉफ्ट को वापस ऑस्ट्रेलिया भेज दिया है। उनकी जगह मैट रेनशॉ, जो बर्न्स और ग्लेन मैक्सवेल को टीम में शामिल किया गया है। वहीं टीम की कमान अनुभवी टिम पेन को सौंपी गई है।
ऐसे मिली टीम में जगह
पेन की क्रिकेट करियर पर नजर डालें तो यह बेहद उतार-चढ़ाव से भरा और दिलचस्प नजर आता है। वह टीम से अंदर-बाहर होते रहे हैं। चार महीने पहले जब टिम को टेस्ट टीम में चुना गया तो ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेट जगत में बहस छिड़ गई थी। दरअसल टिम पेन को नियमित विकेट कीपर मैथ्यू वेड को किनारे कर टीम में जगह दी गई। मैथ्यू वेड ने पिछले साल ऑस्ट्रेलिया के भारत दौरे पर निराशाजनक प्रदर्शन किया था। लेकिन क्रिकेट प्रशंसकों को टिम पेन पर ज्यादा भरोसा नहीं था। लेकिन वे आज टीम के कप्तान हैं।
यहां जॉब ऑफर को भी कबूल कर लिया था
पिछले साल टिम ऑस्ट्रेलिया के क्षेत्रीय तस्मानिया टीम से बाहर थे। वह क्रिकेट को छोड़ने का करीब-करीब मन बना चुके हैं। उन्होंने क्रिकेट के साजोसामान बनाने वाली कंपनी कूकाबूरा से मिलने वाली एक जॉब ऑफर को भी कबूल कर लिया था और वे मेलबर्न जा चुके थे।
ऐसे पलटी टिम पेन की किस्मत
तस्मानिया टीम संकट में घिरी और टीम को टिम पेन की जरूरत पड़ी। अधिकारियों ने कोच डैन मार्श को बर्खास्त कर दिया और टिम को वापस से बुलावा भेजा। साथ ही दो साल का करियर एक्सटेंशन भी दिया। पेन ने बताया, ‘मैं कूकाबूरा में नौकरी स्वीकार करने से बहुत दूर नहीं था। एक वक्त हालात ऐसे थे कि मेरे लिए फर्स्ट क्लास क्रिकेट खेलने के बारे में सोचना ही ज्यादा था। मैं खुशकिस्मत रहा हूं कि क्रिकेट तस्मानिया में काफी बदलाव हुए। मैं और कुछ अन्य सीनियर खिलाड़ियों के लिए यह नई शुरुआत थी।'
फिर क्रिकेट छोड़ चले गए थे हनीमून पर
टिम पेन को 2016 में तस्मानिया टीम से बाहर किया गया। जिसके बाद वे हनीमून पर चले गए थे। यही नहीं पेन ने 2017 में क्रिकेट छोड़ने का पूरी तरह मूड बना लिया था। एक बार टिम पेन तीन गेंद खेलकर जीरो पर आउट हो गए थे। लेकिन टिम को इससे फर्क नहीं पड़ा। दरअसल इसके पीछे कारण था उनकी बेटी। दरअसल टिम पेन की पहली संतान के तौर पर बेटी ने जन्म लिया था। टिम कहते हैं कि, ‘निश्चित तौर पर मेरी जिंदगी बदल चुकी है। मैदान पर भले ही इससे मुझे मदद मिल रही हो या नहीं। मुझे लगता है कि जब से वह मेरे जिंदगी में आई है, यह मेरे लिए बस एक खेल है। आप घर जाते हैं और उसे (बेटी) देखते हैं और आपको कोई फर्क नहीं पड़ता।'
सात साल बाद सीधे ऐशेज में हुई वापसी
ऑस्ट्रेलिया ने ब्रिस्बेन के गाबा मैदान पर 23 नवंबर से इंग्लैंड के साथ होने वाले एशेज सीरीज के पहले टेस्ट मैच के लिए टीम की घोषणा की तो सभी चौंक गए थे। दरअसल इस टीम में 32 वर्षीय विकेटकीपर टिम पेन की सात साल बाद टेस्ट टीम में वापसी हुई थी। इससे पहले तस्मानिया के लिए खेलने वाले पेन ने ऑस्ट्रेलिया के लिए अपना आखिरी टेस्ट मैच 2010 में खेला था।
ऑस्ट्रेलिया क्रिकेट को नई व बेहतर पहचान तलाशनी होगीः पेन
अब कप्तान बनाए जाने के बाद टिम पेन ने कहा कि "काफी विवाद हो चुका, लेकिन यह मुश्किल घड़ी है। अगले मैच में कुछ खिलाड़ियों को मौका मिलेगा कि वो अपने देश के लिए खेल सकें। अब हम जो कर सकते हैं वो इस बात पर नियंत्रण कर सकते हैं कि हम ऑस्ट्रेलिया की जनता के सामने कैसे जाएंगे और वो टीम कैसे बनेंगे जैसी टीम वो हमें देखना चाहते हैं।"