नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट द्वारा नियुक्त किए गए सलाहकार समिति के अध्यक्ष विनोद राय ने बीसीसीआई सचिव अमिताभ चौधरी द्वारा अक्टूबर में भारत और वेस्टइंडीज के बीच एक डे-नाइट क्रिकेट मैच का प्रस्ताव रोकने को कहा है। राय ने कहा है कि बीसीसीआई अपने इस फैसले को होल्ड पर रख दे।
दरअसल अमिताभ चौधरी ने मुख्य कोच रवि शास्त्री, बीसीसीआई अध्यक्ष सीके खन्ना, सीईओ राहुल जोहरी, कोषाध्यक्ष अनिरुद्ध चौधरी और ऑपरेशन मैनेजर गौरव सक्सेना से ईमेल के जरिए परामर्श किया था लेकिन CoA के सदस्यों को ईमेल से बाहर रखा गया था।
मेल में चौधरी ने कहा था कि 2017 में भारत में टेस्ट मैचों में दर्शकों की कम उपस्थिति ने उन्हें ऐसा कदम शुरू करने के लिए प्रेरित किया। लेकिन उन्होंने विनोद राय को इस बात से अवगत नहीं कराया। जिसके बाद उन्होंने अपने पत्र में बीसीसीआई सचिव से CoA से बात किए बिना नीतिगत निर्णय लेने के बारे सवाल खड़े किए हैं।
विनोद राय ने लिखा "आप केवल उन सभी हितधारकों के साथ चर्चा कर रहे हैं, जो आपकी योजनाओं में चार व्यक्तियों के साथ क्रिकेट केंद्र में बैठे हैं। एक बहुत ही गलत तरीके का दृष्टिकोण है।" राय ने आगे लिखा "यहां अगर यह क्रिकेट की बात हो तो आप में से सभी को मुझसे ज्यादा समझ हो सकती है। हालांकि मैं डायना एडलजी (पूर्व भारतीय महिला कप्तान) को छोड़कर कह रहा हूं। जिन्हें आप सभी से ज्यादा क्रिकेट की समझ है। मैं दर्शकों का प्रतिनिधित्व करता हूं जो आपका सबसे बड़ा हितधारक है।" यहां तक कि शास्त्री ने भी डे-नाइट टेस्ट के आइडिया को दोपहर से शुरू करने का सुझाव दिया है।
हालांकि, शास्त्री द्वारा डे-नाइट टेस्ट का समर्थन करने से राय पर इसका कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा। शास्त्री ने इसके अलावा टीमों के साथ मिलकर वेन्यू चुनने में सतर्कता बरतने की बात कही थी। राय ने कहा कि ऐसे कदम उठाने से पहले खिलाड़ियों से परामर्श करने की जरूरत है। क्योंकि अंततः उन्हें ही खेलना है। राय ने लिखा, "फिलहाल ये मुद्दा (डे-नाइट टेस्ट) होल्ड पर रखा है।
राय ने कहा कि जब तक पूरी प्रक्रिया का फैसला नहीं किया जाता है, तब तक इस मुद्दे को होल्ड पर रखा जाएगा। इसमें स्थल, समय, सुरक्षा व्यवस्था, लागत आदि शामिल हैं। राय ने आगे लिखा कि भले ही रवि शास्त्री से परामर्श किया गया हो, लेकिन मैं उन खिलाड़ियों से परामर्श करना चाहूंगा, जिनके शरीर पर लगातार पांच दिनों तक अलग प्रभाव पड़ेगा।