क्रिकेट की बेहतरी के लिये द्विपक्षीय सीरीज खेलें भारत-पाकिस्तान
पिछले काफी समय से सिर्फ अंतर्राष्ट्रीय टूर्नामेंट में एक-दूसरे के खिलाफ खेलने को लेकर युवराज सिंह ने कहा कि यह चीजें हमारे हाथ में नहीं हैं लेकिन मैं चाहूंगा कि क्रिकेट की बेहतरी के लिये दोनों देश ज्यादा से ज्यादा द्विपक्षीय सीरीज खेलें।
युवराज ने स्पोर्ट्स360 से कहा, ‘मुझे पाकिस्तान के खिलाफ 2004, 2006 और 2008 में द्विपक्षीय श्रृंखला खेलने के बारे में याद है। इन दिनों दोनों देशों के बीच ज्यादा क्रिकेट नहीं होता। लेकिन ये चीजें हमारे हाथ में नहीं है।'
अगर भारत-पाकिस्तान एक दूसरे से खेलेंगे तो क्रिकेट अच्छा होगा
क्रिकेट के हर प्रारूप से संन्यास ले चुके युवराज सिंह का मानना है कि अगर भारत-पाकिस्तान एक दूसरे के खिलाफ ज्यादा क्रिकेट खेलते हैं तो इससे क्रिकेट को बहुत फायदा होगा।
उन्होंने कहा, ‘हम खेल से लगाव के कारण क्रिकेट खेलते हैं। हम खुद यह तय नहीं कर सकते कि किस देश के खिलाफ खेलना है। मैं हालांकि यह कह सकता हूं कि भारत और पाकिस्तान एक दूसरे से अधिक खेलेंगे तो यह क्रिकेट के लिए अच्छा होगा।'
उल्लेखनीय है कि भारत-पाकिस्तान की टीमें सिर्फ आईसीसी के टूर्नामेंटों में एक दूसरे के खिलाफ खेलते हैं लेकिन 2013 के बाद से कोई द्विपक्षीय श्रृंखला नहीं हुई है। दोनों देशों के बीच आखिरी टेस्ट सीरीज 2008 में खेली गई थी।
शाहिद अफरीदी ने भी की युवराज की तरह द्विपक्षीय सीरीज की वकालत
युवराज सिंह की तरह पाकिस्तान के पूर्व कप्तान और हरफनमौला खिलाड़ी शाहिद अफरीदी का भी मानना है कि दोनों देशों को ज्यादा से ज्यादा क्रिकेट खेलने चाहिये। युवराज और अफरीदी अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट से संन्यास ले चुके हैं लेकिन दोनों फ्रेंचाइजी आधारित टी20 लीग में खेलते हैं।
अफरीदी ने कहा, ‘मुझे लगता है कि अगर भारत और पाकिस्तान के बीच श्रृंखला हुई तो यह एशेज से बड़ी श्रृंखला होगी। हमें हालांकि ऐसा मौका नहीं मिलता है। हम लोगों के खेल के प्रति प्यार के बीच में राजनीति को ले आते हैं।'