नई दिल्ली। कहते हैं कि अपनी मेहनत और परिश्रम से इंसान वो सब हासिल कर सकता है जिसकी वो तमन्ना करता है। इंसान न केवल अपने सपने पूरे करता है बल्कि अपने मां-बाप का नाम भी रौशन करता है। क्रिकेट के मैदान पर अपनी प्रतिभा के बल पर महेंद्र सिंह धोनी ने जो मुकाम हासिल किया वो आज किसी से छुपा नहीं हैं। झारखंड की गलियों से निकलकर टीम इंडिया को सभी आईसीसी ट्रॉफी जिताने वाले महेंद्र सिंह धोनी को आज दुनिया जानती है।
कुछ इसी तरह झारखंड की गलियों से निकलकर एक और खिलाड़ी टीम इंडिया के लिए वर्ल्डकप खेलेगा। पंकज यादव भी धोनी की तरह ही एक बेहद गरीब परिवार से आते हैं जिनका चयन अंडर-19 वर्ल्ड कप क्रिकेट टीम के लिए किया गया है।
अब घर-घर जाकर दूध बेचने वाले कांके ब्लॉक चौक निवासी चंद्रदेव यादव का बेटा पंकज यादव अंडर-19 क्रिकेट वर्ल्ड कप में भारत के लिए खेलेगा। बता दें कि यह वर्ल्ड कप अगले साल न्यूजीलैंड में होगा। भारत की तरफ से क्रिकेट के वंडर ब्वॉय कहे जाने वाले पृथ्वी शॉ टीम की कप्तानी करेंगे।
बीसीसीआई ने अगले साल न्यूजीलैंड में होने वाले आईसीसी अंडर-19 क्रिकेट वर्ल्डकप के लिए 15 सदस्यीय भारतीय टीम की घोषणा कर दी। भारतीय टीम में दाएं हाथ के फिरकी गेंदबाज पंकज को टीम में जगह दी है। 16 साल के पंकज ने अपनी फिरकी से अच्छे-अच्छे बल्लेबाजों को धूल चटाया।
बता दें कि पंकज यादव के पिता घर-घर जाकर दूध बेच कर अपने परिवार का बड़ी मुश्किल से पालन कर रहे हैं। अपने बेटे के चयन की खबर मिलने के बाद गरीब पिता चंद्रदेव यादव का सीना गर्व से चौड़ा हो गया है। पिता चंद्रदेव यादव आज कहते नहीं थक रहे हैं, "मैं नहीं जानता था कि एक गरीब के घर ऐसा होनहार क्रिकेटर जन्म लेगा।" पंकज के पिता चंद्रदेव यादव झारखंड के घोर नक्सल प्रभावित जिले पलामू के पांकी गांव से आते हैं। आतंक से डरे सहमे चंद्रदेव यादव अपने परिवार के साथ आज से लगभग 20 साल पहले रांची के कांके में आ बसे थे।