टोरंटो। भारतीय मूल के 100 वर्षीय फौजा सिंह ने स्काटिया बैंक टोरंटो वाटरफाल मैराथन दौड़ को आठ घंटे में पूरा कर लिया है। उन् zwj;होने विश् zwj;व में एक नया किर्तिमान स् zwj;थापित किया है लेकिन इसके बावजूद उनको गिनीज वल्र्ड बुक आफ रेकार्डस में जगह नहीं मिलेगी। गिनीज बुक ऑफ व र्ल्ड रिकार्ड ने 100 वर्षीय फौजा सिंह के पास जन्म प्रमाणपत्र नहीं होने के कारण उन्हें दुनिया के सबसे उम्रदराज मैराथन धावक के तौर पर मान्यता देने से इंकार कर दिया है। स्काटिया बैंक टोरंटो वाटरफाल मैराथन दौड़ को आठ घंटे में पूरा करने वाले 100 वर्षीय फौजा सिंह को गिनीज वल्र्ड बुक आफ रेकार्डस में जगह नहीं मिलेगी। गिनीज वल्र्ड बुक आफ रेकार्डस ने बीबीसी को बताया कि 16 अक्तूबर को हुए इस मैराथन में शामिल फौजा सिंह को सबसे बुजुर्ग मौराथॅन धावक का दर्जा नहीं दे सकता है। क्योंकि वह वर्ष 1911 का जन्म प्रमाणपत्र नहीं पेश कर सके। फौजा सिंह के ब्रिटिश पासपोर्ट के अनुसार उनका जन्म एक अप्रैल 1911 को हुआ है। लेकिन भारत सरकार के एक पत्र के अनुसार वर्ष 1911 में जन्म के आधिकारिक रेकार्ड नहीं रखे जाते थे।गिनीज व र्ल्ड रिका र्ड्स के प्रधान संपादक क्रेग ग्लेंडे ने बताया की हमें बताने में खुशी हो रही है कि भारतीय मूल के 100 वर्षीय फौजा सिंह ने स्काटिया बैंक टोरंटो वाटरफाल मैराथन दौड़ को आठ घंटे में पूरा कर विश् zwj;व रिकार्ड स् zwj;थापित किया है लेकिन उनका आधिकारिक जन् zwj;म प्रमाण पत्र न होने के कारण वह इस सम् zwj;मान से वंचित रह गये। #13;