नई दिल्ली। जापान की राजधानी टोक्यो में 23 जुलाई से शुरू होने वाले खेलों के महाकुंभ के लिये भारतीय ओलंपिक संघ ने अपने ध्वजवाहकों का ऐलान करने के साथ ही 201 सदस्यीय दल का भी ऐलान कर दिया है। आईओए के अध्यक्ष नरिंदर बत्रा ने सोमवार को मैरी कॉम और मनप्रीत सिंह को ओलंपिक की ओपनिंग सेरेमनी के दौरान ध्वजवाहक बनाये जाने का ऐलान करते हुए बताया था कि ओलंपिक के लिये भारत से 126 खिलाड़ी भाग लेने वाले हैं। हालांकि मंगलवार को फर्राटा रेस में अपनी दिग्गज महिला स्प्रिंटर हिमा दास के क्वालिफाई न करने की बुरी खबर का सामना करना पड़ा।
हिमा दास की नजर टोक्यो में होने वाले ओलंपिक्स में क्वालिफाई करने पर थी लेकिन नेशनल इंटरस्टेट एथलेटिक्स चैम्पियनशिप की 100 मीटर हीट प्रतियोगिता में हिस्सा लेते हुए उनकी पैर की मांसपेशियों में चोट लग गई। इसके चलते इस 21 वर्षीय फर्राटा धाविका को 100 मीटर और 400 मीटर के फाइनल्स से अपना नाम वापस लेना पड़ा। हिमा दास ने 200 मीटर फाइनल में हिस्सा लिया लेकिन 5वें स्थान पर रहने के चलते ओलंपिक के लिये क्वालिफाई नहीं कर सकी।
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हालांकि हिमा दास ने ओलंपिक में भारत के लिये मेडल की रेस लगाने के अपने सपने को लेकर हार नहीं मानी है और साफ किया है कि वह अगले ओलंपिक्स के लिये मजबूती के साथ वापसी करेंगी।
ओलंपिक की रेस से बाहर होने के बाद हिमा दास ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर लिखा,'जब मैं 100 मीटर और 200 मीटर की प्रतियोगिता में ओलंपिक क्वालिफिकेशन के करीब थी तो चोट के चलते जगह बनाने से चूक गई। मैं देश भर के फैन्स की ओर से मिल रहे लगातार समर्थन, अपने कोच, सपोर्टिंग स्टाफ और टीम के साथियों के मदद के लिये धन्यवाद कहना चाहती हूं। लेकिन मैं साफ करना चाहती हूं कि मैंने हार नहीं मानी है और 2022 कॉमनवेल्थ गेम्स, वर्ल्ड चैम्पियनशिप और एशियन गेम्स में मजबूती से वापसी करूंगी।'
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गौरतलब है कि हिमा दास ने फिनलैंड में साल 2018 की विश्व जूनियर चैम्पियनशिप में 400 मीटर की रेस में गोल्ड मेडल जीतकर सुर्खियां बटोरी थी। इसके बाद इसी साल एशियन गेम्स में 4X400 रिले रेस और मिक्सड 400 मीटर रिले टीम के साथ गोल्ड जीता और 400 मीटर रेस में दूसरे पायदान पर खत्म कर सिल्वर मेडल भी जीता।
आपको बता दें कि हिमा दास ने 2019 में यूरोप में आयोजित हुए अंडर 20 वर्ल्ड चैम्पियनशिप में 5 अलग-अलग शहरों में महीने भर के अंदर 5 गोल्ड मेडल जीतकर इतिहास रच दिया, जिसने उन्हें खेल जगत में एक नये मुकाम पर पहुंचाया।