नई दिल्ली। इंग्लैंड के खिलाफ टेस्ट सीरीज में भारतीय कप्तान विराट कोहली तीन मैचों में चार तेज गेंदबाजों व एक स्पिनर के साथ गए। तीसरे टेस्ट में भारत को एक पारी और 76 रन से हार का सामना करना पड़ा। इस मुकाबले में टीम को स्पिनर रविचंद्नन अश्विन की कमी खली। यानी कि टीम को रविंद्र जडेजा की बजाय अश्विन को उतरना चाहिए था, लेकिन कोहली ने वही रणनीति अपना जो पहले शुरूआती दो टेस्ट में अपनाई थी। हालांकि तीसरा टेस्ट खत्म होने के बाद कोहली ने साफ संकेत दे दिया था कि वह चाैथे टेस्ट में बदलाव करने जा रहे हैं। ऐसे में रविचंद्रन अश्विन को जगह मिला तय हो सकता है, लेकिन उनके कारण एक तेज गेंदबाज का पत्ता कटना भी तय है।
अगर कोहली दो स्पिनरों के साथ उतरते हैं या फिर एक स्पिनर व एक अतिरिक्त बल्लेबाज के साथ उतरते हैं तो फिर 2 सितंबर से द ओवल में शुरू होने वाले चौथा टेस्ट में तेज गेंदबाज इशांत शर्मा को शामिल नहीं किया जाएगा। टीम में सबसे वरिष्ठ गेंदबाज लीड्स टेस्ट में थोड़ा ऑफ-कलर दिख रहे थे और एक भी विकेट नहीं ले सके। साथ ही वो थोड़े थके हुए लग रहे थे और उनका रन-अप भी उतना अच्छा नहीं था। विशेष रूप से, उनकी गति भी कम हो गई और, वह शायद ही अंग्रेजी बल्लेबाजों के विकेट लेने में खतरनाक दिखे।
भारत के कप्तान विराट कोहली ने हालांकि, इशांत शर्मा से संबंधित एक सवाल के बारे में बात करने से इनकार किया और कहा कि वह स्लिप से बल्लेबाजों को देखने पर अधिक ध्यान केंद्रित कर रहे हैं। उन्होंने अपनी लय और गति से जुड़ा कुछ भी नहीं बताया। लेकिन कोहली ने संभवत: चौथे टेस्ट के लिए लाइनअप में कुछ बदलाव करने का संकेत दिया।
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रवि अश्विन को मिल सकता है माैका
ऑलराउंडर रवींद्र जडेजा को तीसरे टेस्ट के दौरान अपने घुटने में चोट लग गई, और ऐसा लगता नहीं है कि वह 2 सितंबर से शुरू होने वाले ओवल टेस्ट मैच में खेलेंगे। इसका संभावित अर्थ यह हो सकता है कि भारत के प्रमुख स्पिनर रवि अश्विन को आखिरकार सीरीज में एक गेम खेलने का मौका मिल सकता है। अश्विन लॉर्ड्स में दूसरा टेस्ट मैच भी खेलने वाले थे, लेकिन मैच के दिन बादल छाए रहने के कारण प्रबंधन ने केवल एक स्पिनर के साथ जाने का विकल्प चुना।
अश्विन काफी अनुभव के साथ आते हैं और ससेक्स के साथ अपने काउंटी कार्यकाल के दौरान अच्छे टच में दिखे। उन्होंने इस साल की शुरुआत में घर में इंग्लैंड के खिलाफ एक शानदार सीरीज भी की थी, जहां उन्होंने 32 विकेट लिए थे। अश्विन की अतिरिक्त गति और गेंद पर स्पिन उन्हें खतरनाक गेंदबाज बनाते हैं। इसके अलावा, वह एक उपयोगी निचले क्रम के बल्लेबाज के रूप में दोगुना हो सकता है।
बता दें कि रविंद्र जडेजा भी टीम के लिए अभी तक कुछ खास कमाल नहीं कर पाए हैं। वह पहले दो टेस्ट में कोई भी भी विकेट नही ंनिकाल पाए थे, लेकिन तीसरे मैच में उन्हें सिर्फ 2 विकेट हासिल हुए। अगर जडेजा को भी चाैथे टेस्ट में माैका मिलता है तो फिर भी इशांत का बाहर होना तय है। अब मैनेजमेंट क्या प्लान बनाता है यह देखने वाली बात रहेगी।